- कोरोना के बढ़ते मामलों के बीचदिल्ली में संक्रमितों की संख्या 25 हजार के पार हो गई
- दिल्ली में संक्रमण से अब तक 650 लोग अपनी जान भी गंवा चुके हैं
- बढ़ रहे केसों को देखते हुए दिल्ली में कंटेनमेंट जोन की संख्या 163 हो गई है
नई दिल्ली: देश कोरोना की मार से जूझ रहा है और देश के कई राज्यों में कोरोना के मामले तेजी से पैर पसार रहे हैं,राजधानी दिल्ली की बात करें तो यहां भी हाल ही में रोजाना संक्रमितों की तादाद नए रिकॉर्ड बना रही है यानि रोजाना अच्छी-खासी संख्या में संक्रमित सामने आ रहे हैं,वहीं 4 जून को दिल्ली में संक्रमितों लोगों की संख्या 25 हजार के पार हो गई, यहां मामलों की संख्या 25004 हो गई है। दिल्ली में कोरोना संक्रमण से अब तक 650 की मौत हो चुकी है।
फिलहाल राष्ट्रीय राजधानी में कोरोना के 14456 एक्टिव केस हैं, दिल्ली में कोरोना पीड़ितों की संख्या बढ़ने के साथ कंटेनमेंट जोन की संख्या में भी तेजी से इजाफा हो रहा है, बृहस्पतिवार को पांच नए कंटेनमेंट जोन बनाए गए, जिसके बाद दिल्ली में कंटेनमेंट जोन की संख्या 163 पहुंच गई है वहीं, अब तक 59 कंटेनमेंट जोन को हटाया भी गया है।
राष्ट्रीय राजधानी में कोरोना वायरस के बढ़ते मामलों के बीच दिल्ली सरकार ने महानगर में स्वास्थ्य सुविधाएं बढ़ाने और महामारी से लड़ने और अस्पतालों में तैयारियों पर नजर रखने के लिए पांच सदस्यीय समिति का गठन किया है।
महानगर के अस्पतालों में केवल कोविड-19 रोगियों के लिए 8386 बिस्तर हैं जिनमें से 3446 बिस्तर भरे हुए हैं। कोविड-19 रोगियों के लिए 408 वेंटिलेटर हैं जिनमें से 255 का रोगियों के लिए उपयोग हो रहा है।
नवगठित समिति दिल्ली सरकार को कोविड-19 से लड़ने के लिए स्वास्थ्य ढांचा और अस्पतालों की तैयारियां बढ़ाने में मार्गदर्शन करेगी।सरकारी आदेश के मुताबिक समिति के सदस्यों में आईपी विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ. महेश वर्मा, जीटीबी अस्पताल के चिकित्सा निदेशक डॉ. सुनील कुमार, दिल्ली चिकित्सा परिषद् के अध्यक्ष डॉ. अरूण गुप्ता, दिल्ली चिकित्सा संगठन के पूर्व अध्यक्ष डॉ. आर. के. गुप्ता और मैक्स अस्पताल के समूह चिकित्सा निदेशक डॉ. संदीप बुद्धिराजा शामिल हैं।
समिति सरकार को दिल्ली में महामारी से बेहतर तरीके से निपटने में किसी अन्य क्षेत्र में भी ढांचागत मजबूती की जरूरत पर सलाह देगी। महाराष्ट्र और तमिलनाडु के बाद सर्वाधिक संक्रमितों की संख्या दिल्ली में है।