- धोखाधड़ी के पैसे वापस दिलाने के नाम पर मांगे थे सात हजार रुपये
- विजिलेंस ने थाने के अंदर ही रिश्वत लेते किया गिरफ्तार
- इसी सप्ताह डेढ़ लाख लेते एक कांस्टेबल हुआ था गिरफ्तार
Gurugram News: गुरुग्राम में रिश्वतखोर पुलिस अधिकारियों व कर्मचारियों पर विजिलेंस विभाग की कार्रवाई लगातार जारी है। स्टेट विजिलेंस ब्यूरो ने धोखाधड़ी के पैसे वापस दिलाने के नाम पर सात हजार रुपये रिश्वत लेते एक पुलिस अधिकारी प्रमोद कुमार को गिरफ्तार किया है। उक्त आरोपी बादशाहपुर थाने में सबइंस्पेक्टर के पद पर तैनात था। विजिलेंस ने एक सप्ताह के अंदर ही साइबर सिटी में दो पुलिस कर्मचारियों को रिश्वत लेते गिरफ्तार किया है।
स्टेट विजिलेंस ब्यूरो, गुरुग्राम रेंज के डीआइजी की तरफ से दी गई जानकारी के अनुसार, गांव नाहरपुर निवासी मुकेश कुमार ने सीएम विडो में धोखाधड़ी किए जाने की शिकायत दी थी। जिसकी जांच की जिम्मेदारी बादशाहपुर थाने में तैनात सबइंस्पेक्टर प्रमोद कुमार को सौंपी गई थी।
दस हजार की रिश्वत मांगी
जांच के दौरान आरोपी प्रमोद ने शिकायतकर्ता से कहा कि वह पैसे वापस दिला देंगे, इसके बदले में 10 हजार रुपये की रिश्वत मांगी। शकिायतकर्ता ने सात हजार रुपये में बातचीत तय कर इसकी शिकायत स्टेट विजिलेंस ब्यूरो में दे दी। जिसके बाद डीएसपी रमेश कुमार के नेतृत्व में टीम गठित कर थाने में भेजा गया। विजिलेंस से बातचीत के मुताबिक मुकेश पैसे लेकर थाने में पहुंचे। जहां आरोपी सब इंस्पेक्टर द्वारा पैसे लेते ही टीम ने उसे गिरफ्तार कर लिया।
इससे पहले डेढ़ लाख की रिश्वत का मामला आया था सामने
बता दें कि, इससे तीन दिन पहले ही खेड़कीदौला थाने में तैनात एक कांस्टेबल शक्ति सिंह को डेढ़ लाख रुपये की रिश्वत लेते गिरफ्तार किया गया था। कांस्टेबल ने भी धोखाधड़ी के मामले में गिरफ्तार एक व्यक्ति को छोड़ने के एवज में 15 लाख रुपये की रिश्वत मांगी थी। विजिलेंस ने टोकन राशि के रूप में डेढ़ लाख रुपये लेते हुए कांस्टेबल को हीरो होंडा चौक के नजदीक से गिरफ्तार किया। डीआईजी बलवान सिंह राणा ने लोगों से अपील की कि, यदि कोई अधिकारी या कर्मचारी रिश्वत की मांग करता है तो उसकी सूचना हर हाल में स्टेट विजिलेंस ब्यूरो कार्यालय में दें। सूचना मिलते ही विभाग की तरफ से तत्काल प्रभाव से कार्रवाई की जाएगी।