- दुनियाभर में कोरोना से निपटने के लिए वैक्सीन बनाने की होड़ मची हुई है।
- रूस का दावा अगस्त तक लॉन्च कर सकता है दुनिया का पहला कोरोना वैक्सीन।
- आम जनता के इस्तेमाल के लिए 10 अगस्त तक मंजुरी मिल सकती है।
कोरोना वायरस से निपटने के लिए दुनियाभर में वैक्सीन बनाने की होड़ मची हुई है। अब इसी बीच ऐसी खबर आ रही है कि रूस दो हफ्तों से भी कम समय में आम जनता के लिए कोरोना वायरस वैक्सीन को मंजूरी दे सकता है। रूस के वैज्ञानिकों ने दावा किया है कि उनके द्वारा विकसित adenoviral वेक्टर-आधारित टीका इस समय में फेज 2 ट्रॉयल में है। एक वेबसाइट की रिपोर्ट के मुताबिक इस वैक्सीन को मॉस्को स्थित गामालेया इंस्टीट्यूट में बनाया गया है। इस वैक्सीन को लेकर गामालेया इंस्टीट्यूट के वैज्ञानिकों का दावा है कि वे आम जनता के इस्तेमाल के लिए 10 अगस्त तक मंजुरी दिलवा लेंगे।
अधिकारियों ने आउटलेट को बताया कि वैक्सीन को पहले सार्वजनिक इस्तेमाल के लिए सबसे पहले फ्रंटलाइन हेल्थकेयर श्रमिकों के लिए अप्रव्यू किया जाएगा। रिपोर्ट के मुताबिक कोरोना वायरस वैक्सीन ट्रायल पर वैज्ञानिकों डेटा जारी करना बाकी है। इसलिए वैक्सीन और उसके इफेक्ट के बार में लगातार सवाल किया जा रहा है। रूसी वैक्सीन फिलहाल ट्रायल के दूसरे चरण में है।
वहीं वैक्सीन के डेवलपर्स 3 अगस्त तक तीसरे चरण के लिए ट्रायल शुरू करने की योजना बना रहे हैं।
इससे पहले, इंटरफेक्स की रिपोर्ट के मुताबिक स्वास्थ्य मंत्री श्री मिखाइल मुराशको का हवाला देते हुए बताया गया कि तीसरे ट्रायल के बाद ही वैक्सीन व्यापक रूप से इस्तेमाल किया जाएगा। उन्होंने कहा कि देश की योजना है कि क्लिनिकल ट्रायल पूरा होने से पहले अगले महीने तक कोविड-19 के बढ़ते खतरे को मेडिक्सों का टीकाकरण किया जाए।
मिखाइल मुराशको ने आगे कहा कि कोरोना वायरस से संक्रमित उन लोगों को वैक्सीन के लिए अधिक प्राथमिकता दी जाएगी, जो बुजुर्ग, या जिनकी स्वास्थ्य स्थिति खराब है। हालांकि अनुमान नहीं लगाया जा सकता है कि यह कब होने वाला है। मंत्री ने बताया कि तीसरे ट्रायल के लिए 800 लोगों की भर्ती की जाएगी। द मॉस्को टाइम्स ने बताया कि स्वास्थ्य अधिकारी इस तथ्य को देखते हुए अधिक सर्तक थे क्योंकि वैक्सीन का ह्यूमन ट्रायल अधूरा है और 3 अगस्त के बाद राज्य का रजिस्ट्रेशन शुरू होने की उम्मीद है।