नई दिल्ली. वेजिटेरियन हो या नॉन वेज ज्यादातर भारतीयों की फेवरेट डिश में राजमा-चावल का नाम जरूर होगा। राजमा के विशेष आकार के चलते इसे ‘किडनी-बींस’ भी कहा जाता है। राजमा प्रोटीन का एक बहुत अच्छा स्रोत है। यही नहीं राजमा वेट लॉस करने में भी मदद करता है। हालांकि राजमा का प्रोटीन काफी नहीं होता, इसलिए इसके लिए इसे कार्बोहाइड्रेट (चावल) के साथ मिलाकर लेना चाहिए।
बना रहता है एनर्जी लेवल
राजमा में काफी मात्रा में फाइबर पाया जाता है। ये फाइबर पेट को भरा हुआ महसूस कराता है। यही नहीं, इसे खाने से देर तक पेट भरा-भरा सा रहता है। इससे,ओवरईटिंग का खतरा कम होता है। साथ ही ये लो फैट भी होता है। इसे खाकर देर तक शरीर में एनर्जी लेवल बना रहता है। ऐसे में राजमा वेट लॉस में काफी मदद करता है। फाइबर और प्रोटीन के अलावा इसमें काफी एंटीऑक्सीडेंट्स भी पाए जाते हैं। ये इम्यून सिस्टम को बढ़ाते हैं।
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डायबिटीज और हाइपरटेंशन से बचाव
राजमा में कम मात्रा में ग्लाइसेमिक इंडेक्स होता है। डाइबिटीज के मरीज़ों द्वारा इसे खाने से ब्लड ग्लूकोज लेवल नहीं बढ़ता। इसके अलावा राजमा में अच्छी क्वालिटी का कार्बोहाइड्रेट और लीन प्रोटीन पाया जाता है। वहीं, इंसुलिन लेवल को रेगुलर करने वाले दो अमिनो एसिड्स आर्जिनाइन और ल्यूसाइन पाए जाते हैं। राजमा पोटाशियम और मैग्नीशियम का अच्छा स्रोत है।पोटाशियम और मैग्नीशियम ब्लड वेन्स में घुल जाते हैं जिससे कि ब्लड फ्लो आसान हो जाता है।
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कम करे कोलेस्ट्रॉल
राजमा में काफी मात्रा में फाइबर पाया जाता है, इसलिए ये कोलेस्ट्रॉल लेवल कम करने में मदद करता है। इसमें मौजूद सोल्यूबल फाइबर पेट में जाने पर जेल बन जाता है जो कोल्स्ट्रॉल को बाइंड कर लेता है। इससे सिस्टम में उसके अवशोषण को रोकता है। जिससे कि ब्लड कोलेस्ट्रॉल लेवल कम हो जाता है। इसके अलावा ऐसा माना जाता है कि राजमा के एंटीऑक्सीडेंट्स में एंटी-एजिंग तत्व भी पाए जाते हैं।
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