नई दिल्ली : निर्वाचन आयोग ने शुक्रवार को विधानसभा चुनाव की तारीखों का जो ऐलान किया, उसके मुताबिक तमिलनाडु, केरल के साथ-साथ केंद्र शासित प्रदेश पुडुचेरी में चुनाव एक ही चरण में कराए जाएंगे। यहां 6 अप्रैल को एक ही चरण में वोट डाले जाएंगे, जबकि वोटों की गिनती एक साथ 2 मई को होगी। तमिलनाडु में विधानसभा की कुल 234 सीटें हैं और इसका कार्यकाल 24 मई को पूरा हो रहा है।
वहीं, केरल में विधानसभा की 140 सीटें है और यहां विधानसभा का कार्यकाल 1 जून को पूरा हो रहा है। पुडुचेरी में विधानसभा की 30 सीटों के लिए चुनाव होगा, जहां विधानसभा का कार्यकाल 8 जून को पूरा हो रहा है। पुडुचेरी में हाल ही में विधायकों के इस्तीफे के बाद यहां सरकार अल्पमत में आ गई थी, जिसके बाद सीएम को पद से इस्तीफा देना पड़ा था और बाद में राष्ट्रपति शासन की घोषणा की गई।
एक नजर में तमिलानाडु चुनाव
विधानसभा की सीटें- 234
मतदान की तारीख- 6 अप्रैल
मतगणना- 2 मई
एक नजर में केरल चुनाव
विधानसभा सीटें- 140
मतदान की तारीख- 6 अप्रैल
मतगणना- 2 मई
एक नजर में पुडुचेरी चुनाव
विधानसभा सीटें- 30
मतदान की तारीख- 6 अप्रैल
मतगणना- 2 मई
किस राज्य में हैं क्या सियासी हालात
यहां उल्लेखनीय है कि तमिलनाडु में फिलहाल ऑल इंडिया अन्ना द्रविड़ मुनेत्र कड़गम (अन्नद्रमुक) सत्तासीन है। राज्य की जनता ने वर्ष 2016 के विधानसभा चुनाव में अन्नाद्रमुक प्रमुख जे जयललिता को दोबारा गद्दी सौंपी थी। इस चुनाव में अन्नाद्रमुक को 135 सीटों पर विजय हासिल हुई थी, जबकि द्रविड़ मुनेत्र कड़गम (द्रमुक) 88 सीटों पर सिमट गई थी। कांग्रेस को आठ सीटें मिली थी, जबकि बीजेपी का खाता भी नहीं खुला था। इस बार बीजेपी यहां अन्नाद्रमुक के साथ मिलकर चुनाव लड़ रही है और उसका मुकाबला यहां कांग्रेस-द्रमुक गठबंधन से होगा।
केरल में फिलहाल वाम लोकतांत्रिक मोर्चा की सरकार है, जहां उसका मुकाबला कांग्रेस के नेतृत्व वाले संयुक्त लोकतांत्रिक मोर्चे से है। पिछले विधानसभा चुनाव में माकपा को 58 और उसकी सहयोगी भाकपा को 19 सीटों पर जीत मिली थी। कांग्रेस को 22 और आईयूएमएल को 18 सीटों पर जीत मिली थी। बीजेपी के खाते में एक सीट आई थी।
पुडुचेरी में 2016 के चुनाव के बाद कांग्रेस-द्रमुक गठबंधन की सरकार बनी थी और वी नारायणसामी मुख्यमंत्री बने थे। लेकिन हाल ही में विधायकों के इस्तीफे के बाद उनकी सरकार अल्पमत में आ गई, जिसके बाद उन्हें सीएम पद से इस्तीफा देना पड़ा। यहां गुरुवार (25 फरवरी) को राष्ट्रपति शासन की घोषणा की गई।