लाइव टीवी

जिनकी तारीफ करते-करते भावुक हो गए PM उन गुलाम नबी आजाद को जानें, J-K के CM से लेकर केंद्र में मंत्री तक रहे

Updated Feb 10, 2021 | 15:57 IST

Ghulam Nabi Azad: राज्यसभा से विदा हो रहे कांग्रेस नेता गुलाम नबी आजाद के बारे में बोलते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भावुक हो गए। आजाद का लंबा राजनीतिक करियर है। यहां जानें उनके बारे में।

Loading ...
गुलाम नबी आजाद
मुख्य बातें
  • राज्यसभा में आजाद की विदाई के दौरान भावुक हुए पीएम मोदी
  • गुलाम नबी आजाद का 15 फरवरी को कार्यकाल खत्म होने जा रहा है
  • वे उच्च सदन में विपक्ष के नेता के पद से भी हट जाएंगे

नई दिल्ली: कांग्रेस नेता गुलाम नबी आजाद का राज्यसभा का कार्यकाल पूरा हो रहा है। मंगलवार यानी 9 फरवरी को उन्हें विदाई दी गई। इस दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने संसद के उच्च सदन में बोलते हुए उनकी जमकर तारीफ की। यहां तक की उनके बारे में बताते हुए पीएम मोदी भावुक तक हो गए। उन्होंने बताया कि जब वह गुजरात के मुख्यमंत्री थे तब आजाद जम्मू कश्मीर के मुख्यमंत्री थे। उन दिनों कश्मीर में पर्यटकों पर आतंकी हमला हुआ और कुछ पर्यटक मारे गए थे। इनमें गुजरात के पर्यटक भी थे। तब सबसे पहले गुलाम नबी आजाद ने फोन कर उन्हें सूचना दी और उनके आंसू रुक नहीं रहे थे। ये पूरा वाक्या बताते हुए प्रधानमंत्री का गला रुंध गया।

1973 में शुरू हुआ राजनीतिक करियर

यहां आज हम आपको उन्हीं गुलाम नबी आजाद के बारे में बता रहे हैं। आजाद लंबे समय से कांग्रेस में हैं और वो केंद्र सरकार में मंत्री भी रहे हैं। इसके अलावा वो जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री भी रहे हैं। 1949 में जन्मे आजाद ने 1973 में भलल्लसा में ब्लॉक कांग्रेस कमेटी के सचिव के रूप में राजनीतिक करियर की शुरुआत की। दो साल बाद उन्हें जम्मू और कश्मीर प्रदेश युवा कांग्रेस के अध्यक्ष के रूप में नामित किया गया। 1980 में उन्हें अखिल भारतीय युवा कांग्रेस के अध्यक्ष के रूप में नियुक्त किया गया।

2005 में J-K के मुख्यमंत्री बने

1980 में महाराष्ट्र की वाशिम (लोकसभा निर्वाचन क्षेत्र) से सातवीं लोकसभा के लिए चुने जाने के बाद आजाद को 1982 में केंद्र सरकार में कानून, न्याय और कंपनी मामलों के मंत्रालय के प्रभारी मंत्री के रूप में जिम्मेदारी दी गई। इसके बाद वह 1984 में आठवीं लोकसभा के लिए चुने गए। वह 1990 से 1996 तक राज्यसभा के सदस्य रहे। राव की सरकार के दौरान आजाद ने संसदीय मामलों और नागरिक उड्डयन मंत्रालयों का कार्यभार संभाला। बाद में उन्हें 30 नवंबर 1996 से 29 नवंबर 2002 और 30 नवंबर 2002 से 29 नवंबर 2008 के बीच जम्मू और कश्मीर से राज्यसभा के लिए चुना गया, लेकिन 2 अप्रैल 2005 को जम्मू कश्मीर के मुख्यमंत्री बनने के बाद उन्होंने 29 अप्रैल 2006 को इस्तीफा दे दिया। 

राज्यसभा में विपक्ष के नेता रहे

डॉ. मनमोहन सिंह के नेतृत्व वाली दूसरी संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन (UPA) सरकार में आजाद स्वास्थ्य मंत्री रहे। वह चौथी बार राज्यसभा के लिए चुने गए। जून 2014 में राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (NDA) ने लोकसभा में बहुमत हासिल किया और केंद्र सरकार का गठन करने के बाद आजाद को राज्यसभा में विपक्ष के नेता के रूप में नियुक्त किया गया। 2015 में आजाद जम्मू और कश्मीर से राज्यसभा के लिए फिर से चुने गए।

Times Now Navbharat पर पढ़ें India News in Hindi, साथ ही ब्रेकिंग न्यूज और लाइव न्यूज अपडेट के लिए हमें गूगल न्यूज़ पर फॉलो करें ।