- ज्योतिषी के अनुसार कर्ज लेने व देने में दिन का विशेष महत्व होता है
- यदि किसी कारण वश हमें किसी से कर्ज लेना पड़ रहा हो तो दिन को जरूर देख लें
- कुछ दिन ऐसे होते हैं जिनमें कर्ज लेना इंसान को भारी पड़ सकता है और फिर चुकाना मुश्किल हो जाता है
Paise Ka Len Den Kab Kare: जरूरत पड़ने पर हर व्यक्ति कर्ज लेता है। दुनिया में कर्ज़ लेना और देना आम बात है। किसी को भी किसी भी वक्त पैसे की जरूरत पड़ सकती है। कर्ज लेने वाला व्यक्ति कर्ज जल्दी चुकाने के बारे में सोचता है। लेकिन कभी-कभी यह सोचने के बाद भी कर्ज निपट नहीं पाता है और फिर वह कर्ज जो धीरे धीरे इतना बढ़ जाता है कि इंसान उस बुझा में पूरी तरह दब जाता है। ज्योतिषी के अनुसार कर्ज लेने व देने में दिन का विशेष महत्व होता है। इसलिए कर्ज लेने और कर्ज देने के लिए दिन का विशेष ध्यान देना चाहिए। यदि किसी कारणवश हमें किसी से कर्ज लेना पड़ रहा हो तो दिन को जरूर देख लें। वास्तु के अनुसार कुछ दिन ऐसे होते हैं जिनमें कर्ज लेना इंसान को भारी पड़ सकता है और फिर चुकाना मुश्किल हो जाता है। आइए जानते हैं सप्ताह के किस दिन भूल कर भी कर्ज नहीं लेना चाहिए।
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इस दिन ले व दें सकते हैं कर्ज
ज्योतिष के अनुसार सोमवार, शुक्रवार व रविवार के दिन कर्ज लेने और कर्ज देने दोनों के लिए अच्छा दिन माना जाता है। इस दिन आप किसी से भी पैसे उधार ले सकते हैं और दे भी सकते हैं। माना जाता है कि इस दिन लिया गया कर्ज जल्दी चुकता हो जाता है और इंसान को किसी भी तरह का घाटा नहीं होता।
इस दिन कर्ज देना होता है अशुभ
इसके अलावा गुरुवार के दिन किसी को भी पैसे उधार नहीं देना चाहिए ।इस दिन कर्ज देना लाभदायक नहीं होता है, बल्कि इस दिन कर्ज लेना लाभदायक हो सकता है। गुरुवार का दिन भगवान विष्णु का होता है और जिस दिन किसी भी तरीके का किसी को उधार देना अशुभ होता है।
इस दिन कर्ज लेना व देना देना होता है अशुभ
ज्योतिष शास्त्रों के मुताबिक मंगलवार, बुधवार व शनिवार को पैसों का लेनदेन करना शुभ नहीं होता है। ऐसी मान्यता है कि इस दिन न उधार देना चाहिए और न ही उधार लेना चाहिए। यह दोनों ही स्तर में अशुभ माना जाता है। इस दिन उधार देने वाले व्यक्ति को पैसे वापस जल्दी नहीं मिलते व लेने वाला जल्दी कर्ज नहीं चुका पाता। व्यक्ति किसी ना किसी समस्या से बंध जाता है।
(डिस्क्लेमर : यह पाठ्य सामग्री आम धारणाओं और इंटरनेट पर मौजूद सामग्री के आधार पर लिखी गई है। टाइम्स नाउ नवभारत इसकी पुष्टि नहीं करता है।)