चैत्र शुक्ल प्रतिपदा से नवरात्र प्रारंभ होती है। 4 अप्रैल को पहले दिन से ही अगर आप मां की आराधना विधिवत तरीके से करें तो मां जरूर प्रसन्न होंगी। इतना ही नहीं अगर आपका कोई कष्ट या समस्या ओ तो उसके उद्धार के लिए भी आप मां से प्रार्थना कर सकते हैं।
इसके लिए आज यहां कुछ मंत्र बता रहे हैं जिन्हें आप नौ दिन रोज करें और मां के सामने अपनी समस्या को रखें। सच्चे और निर्मल मन मां के ये मंत्र का जाप करें और कोशिश करें कि कम से कम 11 या 21 बार इन मंत्र को अपनी समस्याओं के अनुसार पढ़ें।
इन मंत्रों का करें जाप
1. वशीकरण के लिए- 'ॐ कुम्भिनी स्वाहा' की 11 माला (स्फटिक की) नित्य कर अंत में यथाशक्ति हवन करें। मंत्र पढ़कर गुलाब का पुष्प दें, वशी हो।
2. वशीकरणार्थ- 'ॐ चिभि चिभि स्वाहा' की 11 माला नित्य कर नवमी को रात्रि में हवन करें। प्रात:काल जलमंत्रित कर नाम लेकर पिएं।
3. प्रभाव बढ़ाने के लिए 'ॐ हुं फट्' की 51 माला नित्य कर अंत में हवन करें। मंत्र पढ़कर हाथ चेहरे पर फेरें, तब घर या ऑफिस से निकलें, कार्य होगा।
4. रक्षा के लिए 'ह्रीं ह्रीं ह्रीं' की 1 माला नित्य करें। सभी उपद्रव शांत होकर रक्षा होती है।
5. देह रक्षा के लिए 'ॐ परात्मन परब्रह्म मम् शरीरं, पाहि-पाहि कुरु-कुरु स्वाहा' की नित्य 1 माला से रक्षा होती है।
6. दारिद्रय दूर के लिए 'ॐ श्रीं श्रियै नम:' की 101 माला रोज कर लक्ष्मीजी का पूजन करें। माला कमल गट्टे की लें। अंत में हवन करें।
7. कृपा प्राप्त करने के लिए लक्ष्मी-यक्षिणी की 'ॐ श्रीं ह्रीं क्लीं महालक्ष्म्यै नम:' का नवरात्र प्रतिपदा से 1 माह नित्य 31 माला करें।
8. बुद्धि ज्ञान प्राप्ति के लिए नित्य पहले मंत्र की 5 व दूसरे मंत्र की 21 माला करें।
'ॐ गं गणपतये नम:'
'ॐ ऐं ह्रीं श्रीं सरस्वत्यै नम:'।
9. नवग्रह पीड़ा दूर करने के लिए निम्न मंत्र की नित्य 11 माला करें। अंत में हवन करें। 'ॐ नमो भास्कराय मम् सर्वग्रहाणां पीड़ा नाशनं कुरु कुरु स्वाहा।'
Bollywood News in Hindi के लिए देखें Times Now Hindi का एंटरटेनमेंट सेक्शन। देश और दुनिया की सभी खबरों की ताजा अपडेट के लिए जुड़िए हमारे FACEBOOK पेज से।