सुप्रीम कोर्ट द्वारा अयोध्या में राम मंदिर निर्माण को हरी झंडी मिलते ही कार सेवकों ने नई तैयारी शुरू कर दी है। राम मंदिर के निर्माण का रास्ता साफ होते ही कार सेवक राम जानकी बारात की तैयारी में जुट गए हैं। जैसे भगवान राम की बारात जनकपुर गई थी, उसी तर्ज पर कार सेवक भारत के 108 कुंवारे लड़कों की बारात लेकर नेपाल के जनकपुर पहुंचेंगे। यूपी, मध्यप्रदेश और बिहार के युवक इस बारात में दूल्हा बनेंगे। विश्व हिंदू परिषद के नेतृत्व में इस तरह के कार्यक्रम राम मंदिर निर्माण से पूर्व किए जाने की योजना है।
इस कार्यक्रम की जिम्मेदारी विश्व हिंदू परिषद के अनुशांगिक संगठन धर्मयात्रा महासंघ को दी गई है। इसके तहत 21 नवंबर को अयोध्या के जानकी घाट से विवाक कार्यक्रम शुरू होगा और उसके बाद श्री राम जानकी विवाह बारात यात्रा-अयोध्या से श्री धाम जनकपुर' के लिए प्रस्थान करेगी। 13 दिन तक चलने वाले इस कार्यक्रम की शुरुआत तिलकोत्सव से होगी।
इन रास्तों से गुजरेगी राम जानकी बारात
कई वर्ष पहले जिस मार्ग से होकर भगवान राम जनकपुर गए थे, उसी मार्ग से राम जानकी बारात जनकपुर पहुंचेगी। यह बारात यूपी के अंबेडकरनगर, मऊ, आजमगढ़ के बाद बिहार के बक्सर, पाटलिपुत्र, हाजीपुर, मुजफ्फरपुर, सीतामढ़ी, दरभंगा और मोतिहारी में ठहरेगी। नेपाल में शादी समारोह के बाद इस कार्यक्रम का समापन गोरखपुर में उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ करेंगे।
बांटे गए हैं राम जानकी बारात के कार्ड
राम जानकी बारात के लिए बाकायदा निमंत्रण पत्र बांटे गए हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को भी इस कार्यक्रम का निमंत्रण भेजा गया है। कार्ड पर लिखा है- जो भी इस विवाह लीला का दर्शन करता है, वह साक्षात भगवान की पूजा की तरह है।' यह कार्यक्रम भारत और नेपाल के संबंधों को मजबूत करने के लिए है।