नई दिल्ली : कोरोना वायरस ने देश और दुनिया में बहुत कुछ बदल दिया है। भारतीय रेलवे भी इससे अछूता नहीं है। भारतीय रेलवे ने गुरुवार को कहा कि भारतीय रेल के इतिहास में पहली बार ऐसा हुआ है कि ट्रेनों ने 100% पंचुअलिटी हासिल की है। यानी सभी ट्रेनें समय पर गंतव्य स्थान तक पहुंची है। पिछली बार सबसे बढ़िया स्थिति 23 जून 2020 को 99.54% थी। जिसमें एक ट्रेन देर से चल रही थी। बता दें कि कोरोना की वजह से 25 मार्च से सभी ट्रेनों को बंद कर दिया गया था फिर एक मई से स्पेशल श्रमिक ट्रेनों का परिचालन शुरू किया गया उसके बाद 14 मई से 30 स्पेशल एसी ट्रेने चलाई गईं। बाद में 200 और स्पेशल ट्रेनें शुरू की गईं। नियमित ट्रेनों का परिचालन 12 अगस्त तक रद्द है।
गौर हो कि भारतीय रेलवे दिल्ली से मुंबई तक और दिल्ली से हावड़ा तक दो मार्गों पर 130 किलोमीटर प्रति घंटे की गति से ट्रेनों की गति को अपग्रेड करने की तैयारी कर रही है, जिससे कम समय में तेज यात्री आवाजाही हो सके। इस मुद्दे पर बात करते हुए, रेलवे बोर्ड के सिग्नल एंड टेलीकॉम मेंबर प्रदीप कुमार ने कहा कि दिल्ली-हावड़ा और दिल्ली-मुंबई मार्ग फिटनेस और सिग्नलिंग विचार के लिए करीब-करीब तैयार हैं। इस रुट पर ट्रेनें 130 किमी प्रति घंटे की गति से चल सकती हैं। इस वित्तीय वर्ष में इन दो रुटों पर इस गति से ट्रेनें चलने की उम्मीद है।
साथ ही कुमार ने कहा कि जैसा कि पहले घोषित किया गया था, हम भविष्य में इन पर 160 किलोमीटर प्रति घंटे की गति से ट्रेनें चलाएंगे। इसके लिए सभी परियोजनाओं पर काम चल रहा है। उन्होंने कहा कि पिछले कुछ वर्षों से रेलवे द्वारा ट्रेनों की गति में सुधार के लिए लगातार प्रयास किया जा रहा है। हम सभी ट्रैक, सिग्नल, कोच आदि को टैक्नोलॉजी रूप से अपग्रेड कर रहे हैं।
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