- गणपति जी का वाहन चूहा कभी विध्वंसक राक्षस था
- गणपति जी तीन साल तक लगातार महाभारत लिखते रहे थे
- गणेश जी की पीठ कभी किसी को नहीं देखनी चाहिए
Lord Ganesha Facts: गणेश चतुर्थी 22 अगस्त को थी। भाद्रपद की शुक्ल पक्षक की चतुर्थी के दिन गणपति जी का जन्म हुआ था और उनके जन्म को ही गणेश चतुर्थी के रूप में मनाया जाता है। गणेश चतुर्थी के दिन गणेश प्रतिमा स्थापित की जाती है और भक्त अपनी श्रद्धा के अनुसार तीन, पांच, सात या दस दिन तक गणपति जी की पूजा करते हैं।
दसवें दिन यानी अनंत चतुर्दशी के दिन गणपति जी का विसर्जन किया जाता है। गणपति जी प्रथम पूजनीय हैं और इनकी पूजा के बिना कोई कार्य सफल नहीं होता, लेकिन भगवान से जुड़ी कई ऐसी रोचक बातें भी हैं, जिसे बहुत कम लोग जानते हैं। तो आइए आपको गणपति जी से जुड़ी कुछ रोचक बातें बताएं।
जानें, गणपति जी से जुड़ी ये रोचक बातें
- गणपति जी का वाहन चूहा है, लेकिन क्या आप जानते हैं ये चूहा एक राक्षस था। गणपति जी ने इस राक्षस को युद्ध में पराजित कर राक्षस बना दिया था और यही कारण है कि चूहे को मूषकराज भी कहा जाता है। चूहा बनने के बाद राक्षस ने गणपति जी का वाहन बनने का निवेदन किया था।
- गणपति ज्ञान और बुद्ध के देवता हैं और लिखने में भी उनका कोई सानी नहीं। यही कारण है कि महाभारत लिखने के लिए ऋषि वेदव्यास जी ने गणपति जी को चुना था और गणपति जी तीन साल तक लगातार महाभारत लिखते रहे थे।
- गणपति जी की प्रिय दिशा पूर्व है। यदि आपको लगता है कि गणपति जी को हरा रंग सबसे ज्यादा प्रिय है तो नहीं, गणपति जी को सिंदूरी रंग सबसे ज्यादा प्रिय है। उन्हें लाल रंग का गुड़हल का फूल दूर्वा के साथ यदि अर्पित कर दिया जाए तो उनकी पूजा पूरी हो जाती है।
- गणेश जी धन और समृद्धि के देवता हैं, लेकिन उनके दर्शन का एक नियम हमेशा याद रखना चाहिए। वह यह कि गणेश जी के दर्शन हमेशा सामने से करें। पीठ के पीछे दर्शन करने से दरिद्रता देती है। ऐसा माना जाता है कि गणपति के पीछे की दरिद्रता निवास करती है।
- एक सुखी परिवार के लिए गणपति जी की पूजा सबसे जरूरी है, क्योंकि वह पारिवारिक समस्याओं को दूर करने वाले देवता हैं। इसलिए उन्हें गृहस्थ जीवन का देवता भी माना गया है। वे सभी मनोकामनाएं पूर्ण करते हैं।
गणपति जी को आप यदि रोज केवल दूर्वा और लाल फूल भी चढ़ा दें तो वह आपसे हमेशा प्रसन्न रहेंगे।