- हिंदू शास्त्रों के अनुसार तुलसी भगवान विष्णु की सबसे प्रिय हैं
- भगवान विष्णु की हर पूजा पाठ में तुलसी जरूर चढ़ाई जाती हैं
- इसके बिना भगवान विष्णु की पूजा अधूरी मानी जाती है
Tulsi Leaf Plucking Mantra: सनातन धर्म में तुलसी के पौधे को सबसे शुद्ध व पवित्र माना जाता है। हर पूजा पाठ में तुलसी जरूर चढ़ाई जाती है। हिंदू शास्त्रों के अनुसार तुलसी भगवान विष्णु की सबसे प्रिय हैं। भगवान विष्णु की हर पूजा पाठ में तुलसी जरूर चढ़ाई जाती हैं। इसके बिना भगवान विष्णु की पूजा अधूरी मानी जाती है। लगभग हर घर में तुलसी का पौधा जरूर मिल जाएगा। ईश्वर की पूजा से लेकर घर में सुख समृद्धि व सौभाग्य के लिए तुलसी के पत्ती का प्रयोग किया जाता है। ज्योतिषशास्त्र के अनुसार तुलसी की पत्ती तोड़ने व तुलसी की पूजा करने के लिए कुछ मंत्र हैं। जिसका जाप करने के बाद ही तुलसी की पत्ती तोड़नी व पूजनी चाहिए।
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इन मंत्र को बोलने के बाद तोड़े तुलसी का पत्ता
- ॐ सुप्रभाय नमः
- ॐ सुभद्राय नम:
- मातस्तुलसि गोविन्द हृदयानन्द कारिणी
नारायणस्य पूजार्थं चिनोमि त्वां नमोस्तुते ।।
किसी भी पूजा पाठ या किसी भी कार्य के लिए अगर तुलसी के पत्ते की आवश्यकता पड़ती है, तो इसे तोड़ने से पहले इन मंत्रों का जाप जरूर करना चाहिए। ऐसी मान्यता है कि इन मंत्रों का जाप करने से तुलसी का पत्ता तोड़ने से कोई भी दोष नहीं लगता है।
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तुलसी को जल चढ़ाते वक्त इस मंत्र का करें जाप
- महाप्रसाद जननी, सर्व सौभाग्यवर्धिनी
आधि व्याधि हरा नित्यं, तुलसी त्वं नमोस्तुते।।
सनातन धर्म में तुलसी को जल देना बेहद शुभ माना जाता है। ऐसी मान्यता है कि नियमित रूप से तुलसी को जल देने से घर में सकारात्मक ऊर्जा का वास होता है। व्यक्ति को कभी भी धन व वैभव की कमी नहीं होती है। तुलसी को जल चढ़ाने के समय इस मंत्र का जाप जरूर करना चाहिए। इससे देवी तुलसी प्रसन्न होती हैं।
तुलसी के पूजन के बाद इस मंत्र का करें जाप
तुलसी श्रीर्महालक्ष्मीर्विद्याविद्या यशस्विनी।
धर्म्या धर्मानना देवी देवीदेवमन: प्रिया।।
लभते सुतरां भक्तिमन्ते विष्णुपदं लभेत्।
तुलसी भूर्महालक्ष्मी: पद्मिनी श्रीहरिप्रिया
देवी तुलसी की पूजन का विशेष महत्व है। तुलसी माता की पूजन के बाद इस मंत्र का जाप करने से विशेष लाभ मिलता है। जब तुलसी माता को जल अर्पित कर लें व पूजा कर लें उसके बाद इस मंत्र का जाप करें।
(डिस्क्लेमर : यह पाठ्य सामग्री आम धारणाओं और इंटरनेट पर मौजूद सामग्री के आधार पर लिखी गई है। टाइम्स नाउ नवभारत इसकी पुष्टि नहीं करता है।)