- हिंदू धर्म में है प्रदोष व्रत का विशेष महत्व।
- इस व्रत को करने से सुहागन नारियों का सुहाग सदा अटल रहता है।
- चंद्र दोष से मुक्ति के लिए सोम प्रदोष व्रत है बेहद खास।
Som Pradosh Vrat, October 2021: सनातन धर्म में प्रदोष व्रत का विशेष महत्व है। शास्त्रों के अनुसार, कलयुग में भगवान शिव को प्रसन्न करने के लिए यह सर्वोत्तम उपाय है। इस दिन विधि-विधान से भगवान शिव और माता पार्वती की पूजा अर्चना करने से विशेष फल की प्राप्ति होती है और सभी कष्टों का निवारण होता है। इस व्रत को करने से सुहागन नारियों का सुहाग सदा अटल रहता है। पौराणिक कथाओं के अनुसार प्रदोष व्रत करने वालों को सौ गऊ दान का फल प्राप्त होता है। हिंदी पंचांग के अनुसार, एकादशी व्रत की तरह ये व्रत भी कृष्ण पक्ष और शुक्ल पक्ष की त्रयोदशी को रखा जाता है। इस बार आश्विन मास का पहला प्रदोष व्रत 4 अक्टूबर 2021 दिन सोमवार को पड़ रहा है।
प्रदोष व्रत के दिन सोमवार होने के कारण सोम प्रदोष का संयोग बन रहा है। साथ ही इस दिन मासिक शिवरात्रि का व्रत और पूजन भी किया जाएगा। एक साथ शिवरात्रि और सोम प्रदोष का संयोग भोलेनाथ को प्रसन्न करने के लिए अत्यंत शुभ है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, त्रयोदशी तिथि को प्रदोष काल में भगवान शिव कैलाश पर्वत के रचित भवन में आनंद तांडव करते हैं। तथा सभी देवी देवता उनकी स्तुति करते हैं। इसलिए जो भी भक्त इस दिन भोलेनाथ और माता पार्वती की अराधना करता है उसकी समस्त मनोकामनाएं भगवान शिव स्वयं पूर्ण करते हैं। ऐसे में इस लेख के माध्यम से आइए जानते हैं सोम प्रदोष के दिन किन उपायों से भगवान शिव को प्रसन्न किया जा सकता है।
ऐसे करें भगवान शिव को प्रसन्न
धन प्राप्ति के लिए
सोम प्रदोष के दिन विधि विधान से भगवान शिव और माता पार्वती की पूजा अर्चना करने और व्रत रखने से सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं। साथ ही इस दिन शिवलिंग पर गुड़ और घी मिलाकर जल अभिषेक करने से मां लक्ष्मी घर में वास करती हैं और धन प्राप्ति का योग बनता है।
चंद्र दोष से मुक्ति के लिए
जिन लोगों की कुंण्डली में चंद्र दोष होता है उनके लिए सोम प्रदोष का व्रत बेहद खास है। इस दिन विधि विधान से भगवान शिव की पूजा अर्चना करने व व्रत कर ‘ओम सों सोमाय’ मंत्र का जप करने से चंद्र दोष से मुक्ति मिलती है।
बीमारी के निवारण के लिए
यदि आप किसी बीमारी से पीड़ित हैं तो इस दिन महामृत्युंजय मंत्र का 108 बार जाप करें। इन मंत्रों का जप करने से सभी कष्टों का निवारण होता है। तथा ऐसा करने से आप स्वस्थ रहते हैं।
सुख समृद्धि की प्राप्ति
सोम प्रदोष के दिन बैल को हरी घांस खिलाने से सुख समृद्धि की प्राप्ति होती है। बता दें बैल को नंदी का स्वरूप माना जाता है। ऐसे में इस दिन बैल को हरी घांस खिलाएं।
सोम प्रदोष व्रत के दिन भगवान शिव का कच्चे दूध से जलाभिषेक करना चाहिए। साथ ही इस दिन शिव महिम्नस्तोत्र का जाप करने से शुभ फल की प्राप्ति होती है और समस्त मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं।