- भगवान शिव के साथ मौना पंचमी पर की जाती है नाग देव की पूजा, दोनों की कृपा से दूर हो जाती हैं संपूर्ण बाधाएं।
- नवविवाहित जोड़े अवश्य करें मौना पंचमी का व्रत, इस व्रत के फल से वैवाहिक जीवन बना रहता है सुखमय।
- मौना पंचनी पर शिवाभिषेक से भक्तों को होती है ज्ञान, सकारात्मकता और बुद्धि की प्राप्ति।
Mauna panchami 2021: मौना पंचमी का पर्व पूरे भारत में आस्था और विश्वास के साथ मनाया जाता है। मान्यताओं के अनुसार, मौना पंचमी तिथि शिवजी के साधकों के लिए अत्यंत कल्याणकारी है। इसे नाग मरुस्थले भी कहा गया है। मान्यताओं के अनुसार, मौना पंचमी पर लोग मौन व्रत रखते हैं और नाग देवता की पूजा करते हैं। इस दिन शिवजी की पूजा करना अहम माना गया है।
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हिंदू पंचांग के अनुसार, इस वर्ष मौना पंचमी 28 जुलाई को पड़ रही है। मौना पंचमी पर लोगों को कुछ परंपराओं को जरूर निभाना चाहिए। हिंदू धर्म शास्त्रों के अनुसार, यह परंपराएं बहुत लाभदायक मानी गई हैं।
मौना पंचमी के नियम, Mauna Panchami Vrat Niiyam in hindi
1. मौना पंचमी पर रखें मौन व्रत
मौना पंचमी पर मौन व्रत रखना शुभ माना गया है। कहा जाता है कि मौन व्रत धारण करने से भक्तों की मानसिक शक्ति का विकास होता है तथा शारीरिक ऊर्जा बनी रहती है।
2. शिव शंभू और नाग देव की करें पूजा
मौना पंचमी की तिथि शिव भक्ति के लिए बहुत लाभदायक है। इस दिन भगवान शिव और नाग देव की पूजा करने से काल समेत हर प्रकार का भय दूर हो जाता है। इसके साथ भक्तों के जीवन मे आ रही तमाम परेशानी भी दूर हो जाती है।
3. नवविवाहित इस दिन रखें व्रत
नवविवाहितों को इस दिन व्रत रखना चाहिए तथा भगवान शिव और नाग देव की आराधना करनी चाहिए। जो नवविवाहित जोड़े इस दिन व्रत रखते हैं उनका वैवाहिक जीवन बहुत सुखमय होता है।
4. चबाएं आम, नींबू और अनार के पत्ते
इस दिन आम, नींबू और अनार के पत्तों को चबाना चाहिए। कहा जाता है कि इन पत्तों को चबाने से स्वास्थ्य बना रहता है। इसके साथ यह पत्ते शरीर में मौजूद हानिकारक जहर को बाहर निकालते हैं।
5. करें पंचामृत से शिवाभिषेक
इस दिन भक्तों को पंचामृत से शिवाभिषेक करना चाहिए। ऐसा करने से भगवान शिव भक्तों को ज्ञान, सकारात्मकता और बुद्धि प्रदान करते हैं। जो लोग पंचामृत से शिवाभिषेक नहीं कर सकते उन्हें जल से जरूर करना चाहिए।