- ग्रहण खत्म होने के बाद करें स्नान-दान और पूजा-पाठ।
- भारत में नहीं पड़ेगा साल के पहले चंद्र ग्रहण का प्रभाव।
- चंद्र ग्रहण खत्म होने के बाद जरूरी है शुद्धिकरण।
Sutak Kaal Effects on Chandra Grahan: साल 2022 का पहला चंद्र ग्रहण सोमवार, 16 मई को लगेगा। इस दिन वैशाख माह पूर्णिमा या बुद्ध पूर्णिमा भी पड़ रही है। वैसे तो ग्रहण लगने की घटना हर साल होती है। इस साल का पहला चंद्र ग्रहण पूर्ण चंद्र ग्रहण होगा। लेकिन इसका प्रभाव भारत में नहीं पड़ेगा। क्योंकि ग्रहण का प्रभाव उस स्थिति में पड़ता है जब उस स्थान पर ग्रहण दिखाई दे। ऐसे में यहां चंद्र ग्रहण का सूतक काल भी मान्य नहीं होगा।
धार्मिक दृष्टिकोण से चंद्र ग्रहण को अशुभ माना जाता है और इस दौरान नकारात्मक ऊर्जा का प्रभाव बढ़ जाता है। जिसका दुष्प्रभाव व्यक्ति और आसपास की चीजों पर भी पड़ता है। इसलिए जिस तरह चंद्र ग्रहण के दौरान कुछ नियमों का पालन करना जरूरी होता है, ठीक उसी तरह चंद्र ग्रहण समाप्त होने के तुरंत बाद कुछ कामों को करना जरूरी होता है।
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चंद्र ग्रहण समाप्त होने के तुरंत बाद करें ये काम
- चंद्र ग्रहण समाप्त होने के बाद घर की अच्छे से सफाई करें। अगर पूरे घर को साफ करना और धोना संभव ना हो आप पूरे घर पर गंगाजल छिड़क दें। घर की सफाई करने के बाद आप धूप-बत्ती भी करें। इससे ग्रहण के दौरान की सारी नकारात्मक ऊर्जा समाप्त हो जाती है।
- चंद्र ग्रहण ग्रहण समाप्त होने के तुरंत बाद स्नान करना चाहिए। वैसे तो ग्रहण के बाद गंगा स्नान का महत्व होता है। लेकिन अगर गंगा स्नान संभव ना हो आप नहाने के पानी में गंगाजल मिलाकर भी स्नान कर सकते हैं।
- ग्रहण का सबसे अधिक प्रभाव गर्भवती महिला पर पड़ता है। इसलिए ग्रहण समाप्त होने के बाद गर्भवती महिला को जरूर स्नान करना चाहिए।
- स्नान के बाद घर के मंदिर में भी गंगाजल छिड़कर शुद्धिकरण करें और फिर पूजा-पाठ जरूर करें।
- ग्रहण समाप्त होने के बाद दान करने का भी नियम है। दान करने से ग्रहण का दुष्प्रभाव खत्म हो जाता है। आप अन्न, पैसा, कपड़ा किसी भी चीज का दान अपने सामार्थ्य अनुसार जरूर करें।
चंद्र ग्रहण का समय
भारतीय समयानुसार साल का पहला चंद्र ग्रहण सोमवार, 16 मई सुबह 08:59 पर लगेगा और 10:23 पर समाप्त हो जाएगा। भारत में यह ग्रहण दिखाई नहीं देगा। लेकिन अन्य कई देशों में इसे साफ देखा जा सकेगा।
(डिस्क्लेमर: यह पाठ्य सामग्री आम धारणाओं और इंटरनेट पर मौजूद सामग्री के आधार पर लिखी गई है। टाइम्स नाउ नवभारत इसकी पुष्टि नहीं करता है।)