- लोहड़ी का पर्व नवविवाहित जोड़े और नवजात शिशु के लिए खास माना जाता है।
- लोहड़ी के लिए लकड़ी सजाते हुए दिशा का ध्यान जरूर दें।
- लोहड़ी फसल और समृद्धि का त्यौहार है।
नई दिल्ली. 13 जनवरी को पूरे देश में लोहड़ी का त्योहार धूम-धाम से मनाया जाने वाला है। लोहड़ी का पर्व नवविवाहित जोड़े और नवजात शिशु के लिए खास माना जाता है। लोहड़ी पर अगर वास्तु के कुछ टिप्स भी अपना कर आप अपने ग्रह-नशत्र भी खुश रख सकते हैं।
लोहड़ी के लिए लकड़ी सजाते हुए दिशा का ध्यान जरूर दें। वहीं, आप लोहड़ी दक्षिण-पूर्व दिशा में ही मनाएं। यह अग्नि की दिशा होती है और यहां अग्नि प्रज्जवलित करना आपके जीवन में नए उत्साव व सुख ले कर आएगी।
लोहड़ी फसल और समृद्धि का त्यौहार है। घर में यदि नई बहू आई है तो उसे इस दिन किचन में प्रवेश करा कर उसका गृहप्रवेश पूरा करें। उसके हाथों से कुछ मीठा बनवा कर लोगों को खिलाएं।
काले तिल का करें प्रयोग
लोहड़ी के पूजन में काले तिल का प्रयोग करें, क्योंकि ये काला तिल ग्रहों के नकारात्मक प्रभाव को खत्म करता है। काले तिल से पूजा या दान करना बहुत ही शुभ माना जाता है।
लोहड़ी की पूजा की राख कभी भी नाले, डस्बिन या गलत स्थान पर न डालें। ऐसा कर के आप अपने सारे पुण्य को खत्म कर देंगे। इस राख को आप बगीचे, किसी पेड़ के नीचे या पार्क आदि के कोने में रख दें। बची लकड़ियों को भी ऐसी ही जगह रखें।
गरीबों को भेंट करें रेवड़ियां
यदि जीवन में दुर्भाग्य साथ न छोड़ रहा हो तो लोहड़ी के दिन गरीब कन्यों को रेवड़ियां भेंट करें। इसके अलावा इस दिन गरीब और जरूरतमंद लोगों से आशीर्वाद पाने के लिए उन्हें कपड़े दान करें।
लोहड़ी के दिन अपने बड़ों के साथ समय गुजारे, उन्हें फोन पर बात करें और उनकी कमी का अहसास जरूर कराएं। इसके अलावा गाय को भोजन खिलाना शुरू करें। मवेशियों को भोजन खिलाना हमें सकारात्मक ऊर्जा देता है।